एक ही बाप की दो संतान एक कवी बन गया दूसरा नेता...


एक ही बाप की दो संतान एक कवी बन गया दूसरा नेता...
कवी ने चार पंग्तियो बखान किया:-


"एक ही थान पर कट्यां छो ..
एक ही धागा ल बुनया छो .
अपर अपर जोग छीन दिदों..
वो टुप्ला बनी क चमकूणू च
हम कच्छा बणि क लुकया छो

वो चो तरफ भाटी खुला च
मी चो तरफ बटी घिर्युं छो ..
वेकि क्रीज़ तक खराब नीच
मी जगो जगो बटी चिरयु छो

"एक ही थान पर कट्यां छो ..
एक ही धागा ल बुनया छो .
अपर अपर जोग छीन दिदों .
वो टुप्ला बनी क चमकूणू च
हम कच्छा बणि क लुकया छो 

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